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Saturday 9 March 2024

विकासा स्वेणा

 

अब सु पूसौ जन

घाम ह्वेगी

घौर औणूs कू 


साल मा एक दां

वा बि मुश्किल सि

सुपन्याँ जन सट औन्दू

अर चट चलि जांद 


अर बाज बाज

साल त!

रिति रै

जांदी ब्वै कि आस।


हेरां!!! दगड़्यौ 

क्या कन?

या मा

तै कु बि

क्वी दोष नि।


किलै कि सु

ब्वै-बाबा का 

विकासा स्वेणा उँणि 

छौपदू छौपदू 

इतगा दूर पौंछयूँ

कि

तख बटे

सुपन्याँ बणि त

ऐ सकदू 

पर

बगत बणि ना।



@ बलबीर सिंह राणा 'अडिग'

14 फ़रवरी 24

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