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Monday, 19 June 2023

ननि गजल

 

हिया अजमौंण छौ,
त पैली बतौंण छौ।
 
बबालै जड़ मैंयी किलै,   
त्वेन नि सनकौण छौ।
 
बात द्वियाँ बीचै छै त,
तिसरु नि बखौण छौ।
 
इस्क.मुस्क भितरै बात,
ढिंढौरा नि पीटौंण छौ।
 
नि छै सकणें सक्या त,
बौंळा नि बिटौंण छौ।
 
फुटकुला बतै अब क्या होण,
घपरौळ मा मुंड बचौण छौ।
 
@ बलबीर राणा अडिग
 

 

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